मुख्य अभियंता गिरीश कुमरवार की कार्यप्रणाली पर उठ रहे सवाल
एक कथित उप मुख्य अभियंता से त्रस्त है ठेकेदार
चंद्रपुर:- चंद्रपुर जिले में स्थित बिजली निर्माण केंद्र हमेशा से ही भ्रष्टचार के सवालों में घिरा रहा है। एक ऐसा ही सवाल भावना एनर्जी इंफ्रास्ट्रक्चर प्राइवेट लिमिटेड से संबधित भारतीय ऑल मीडिया सुरक्षा फोरम ऑफ इंडिया ने उठाया है। पिछले कई महीनो से निरंतर इस संगठन द्वारा भावना एनर्जी इंफ्रास्ट्रक्चर प्राइवेट लिमिटेड द्वारा किए गए कामों की जांच को ले कर निवदेन दिए जा रहे है। पुर्वीय मुख्य अभियंता तथा कार्यकारी निदेशक पंकज सपाटे द्वारा इसकी जांच कराने के आदेश दिए गए थे। पर उस आदेश को उन्ही के अधिकारियों द्वारा कचरे के डब्बे में डाल दिया गया था। हाल ही में नवनियुक्त मुख्य अभियंता गिरीश कुमरवार से भी ज्ञापन दे कर जांच की मांग की गई थी। पर भावना एनर्जी इंफ्रास्ट्रक्चर प्राइवेट लिमिटेड पर कार्रवाई की जगह उसे और करोड़ों के ठेके देने की जानकारी सामने आरही है। विवादो में घिरी भावना एनर्जी इंफ्रास्ट्रक्चर प्राइवेट लिमिटेड को इस समय ठेका देना कही ना कही आर्थिक लेन देन के चलते ठेका दिए जाने की संभावना है। क्या इस आर्थिक लेनदेन में नवनियुक्त मुख्य अभियंता गिरीश कुमरवार शामिल है? ऐसा सवाल बिजली निर्माण केंद्र में चर्चा का विषय बना हुआ है। अब देखना यह है की क्या मुख्य अभियंता गिरीश कुमरवार द्वारा भावना एनर्जी पर कार्रवाई कर उठ रहे सवालों का जवाब दे पाएंगे?
मुख्य अभियंता गिरीश कुमरवार की कार्यप्रणाली पर उठ रहे सवाल
भारतीय ऑल मीडिया सुरक्षा फोरम ऑफ इंडिया के माध्यम से तारीख २३/०५/२०२३को ज्ञापन दे कर कार्रवाई करने की मांग की गई थी। उसके बाद २७/०६/२०२३ को भी भावना एनर्जी इंफ्रास्ट्रक्चर प्राइवेट लिमिटेड द्वारा किए गए ID FAN के ठेके की जांच कर कार्रवाई करने की मांग की गई थी। पर कार्रवाई के जगह करोड़ों का ठेका भावना एनर्जी इंफ्रास्ट्रक्चर प्राइवेट लिमिटेड को मिलने से बिजीली निर्माण केंद्र के नवनियुक्त मुख्य अभियंता गिरीश कुमरवार के कार्यप्रणाली पर सवाल खड़े किए जा रहे है।
उपमुख्य अभियंता के आशीर्वाद से मिल रहे है ठेके
सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक केंद्र के उपमुख्य अभियंता की भावना एनर्जी के मालिक के साथ साठगाठ है। उसी के चलते यह ठेका भावना एनर्जी को दिया गया है। मिली जानकारी के मुताबिक ID FAN के इस ठेके में करोड़ों का भ्रष्टाचार किया गाया हैं। इस ठेके का वास्तविक मूल्य बहुत कम है। भावना एनर्जी को आर्थिक फायदा पहुंचाने के लिए इस ठेके को उसके वास्तविक मूल्य से बढ़ा कर लाखो से करोड़ों का कर दिया गया है। जिस से भावना एनर्जी के मालिक को आर्थिक फायदा पहुंचे और अफसरों को भी आर्थिक लाभ मिले।
एक कथित उप मुख्य अभियंता से त्रस्त है छोटे ठेकेदार
बिजली निर्माण केंद्र ये भ्रष्टाचार का गढ़ कहा है जाता है यह अधिकतर अफसर भ्रष्टाचार में डूबे हुए है। कुछ ऐसे ही एक उपमुख्य अभियंता इस समय चर्चा है में। कथित उपमुख्य अभियंता द्वारा हर काम में पैसे मांगे जाने का आरोप है। सूत्रों से पता चला है की भावना और एक कथित कंपनी को इस उप मुख्य अभियंता का वरदान हासिल है। इन दोनो कंपनियों की फाइलें तुरंत आगे बढ़ा दी जाती है और छोटे ठेकेदारों की फाइलें कई कई महीने टेबल पर जान बूझ का रोके जाने की चर्चा है। सूत्र यह भी बता रहे है की हाल ही में मिले ठेके में उस उप मुख्य अभियंता का बहुत बड़ा योगदान रहा है। क्यों के जो ठेका इस समय निकाला गया है उसका काम पहले ही हो चुका है और काम होने के बाद अब अफसरों द्वारा ठेका निकाला जा रहा हैं। जिस से भ्रष्टाचार करना आसान हो। अब देखना यह है की मुख्य अभियंता गिरीश कुमरवार इस भ्रष्टाचार निर्माण केंद्र पर किस तरह रोक लगा पाएंगे।